wheat production in india : राजस्थान में नए गेहूं का श्रीगणेश, बारां मंडी में 2300 रुपए तक बिका
पिछले दिनों आई भारी तेजी के बाद बिकवाली के कारण भावों में गिरावट
जयपुर, 16 मार्च। ऊंचे दामों पर डिमांड कमजोर होने तथा उत्पादन केन्द्रों पर नए गेहूं की सीमित आवक प्रारंभ होने से गेहूं की कीमतों में इन दिनों फिर से गिरावट का रुख देखा जा रहा है। जयपुर मंडी में चार दिन के अंतराल में मिल डिलीवरी दड़ा गेहूं 200 रुपए मंदा होकर बुधवार को 2200 रूपए प्रति क्विंटल रह गया। समर्थन पाकर आटा, मैदा एवं सूजी के भाव भी इसी अनुपात में नीचे आ गए। राजस्थान की कोटा, बारां, श्योपुर आदि मंडियों में नए गेहूं ने दस्तक दे दी है। मित्तल दलिया के निर्माता मुकुल मित्तल ने बताया कि बारां मंडी में आज करीब 2500 कट्टे नया गेहूं आया। इसके लूज भाव 2000 से 2300 रुपए प्रति क्विंटल तक बोले गए। रूस-यूक्रेन युद्ध के चलते पिछले दिनों गेहूं में आई भारी तेजी के बाद मुनाफावसूली की बिकवाली के कारण भी भावों में गिरावट का रुख रहा। उधर केन्द्र सरकार द्वारा पिछले दिनों जारी दूसरे अग्रिम अनुमान के मुताबिक देश का गेहूं उत्पादन वर्ष 2021-22 (जुलाई-जून में) रिकॉर्ड 11.13 करोड़ टन रहने का अनुमान है। रबी की मुख्य फसल गेहूं की पैदावार वर्ष 2020-21 के फसल वर्ष में 10.95 करोड़ टन रही थी। देश में मौजूदा फसल वर्ष में गेहूं का रिकार्ड उत्पादन होने की संभावना है। कृषि मंत्रालय के अनुसार देश में इस साल कुल खाद्दान्न उत्पादन 31.60 करोड़ टन पर पहुंच जाने का अनुमान है, जो कि बीते वर्ष 31.07 करोड़ टन रहा था। जानकारों का कहना है कि होली के बाद जैसे-जैसे मंडियों में गेहूं एवं जौ की आवक बढ़ेगी कीमतों में नरमी आएगी। फिलहाल मध्य प्रदेश बॉर्डर की श्योपुर एवं छबड़ा आदि मंडियों में नए गेहूं की आवक शुरू हो गई है। देश में सरसों की आवक आज 14.50 लाख बोरी की बताई गई तथा सरसों 42 प्रतिशत कंडीशन के भाव 100 रुपए नीचे आकर 7000 रुपए प्रति क्विंटल पर आ थमे।