ग्वार का बिजाई रकबा 40 फीसदी घटा, तेजी के आसार
देश में इस साल 50 लाख बोरी उत्पादन का अनुमान
जयपुर, 13 सितंबर। राजस्थान एवं गुजरात के उत्पादन केन्द्रों पर इस बार ग्वार का बिजाई रकबा करीब 40 फीसदी घट गया है। इसके अलावा ग्वार की निर्यात मांग सुधरने लगी है। परिणामस्वरूप ग्वार व ग्वार गम में अच्छी तेजी के संकेत बन रहे हैं। गौरतलब है कि पिछले दिनों ग्वार की कीमतें काफी नीचे आ जाने तथा मूंग व मोठ के भाव महंगे होने से किसानों ने ग्वार की बिजाई कम की है। यही वजह है कि इस साल ग्वार सीड का उत्पादन कम रहेगा। ग्वार गम निर्माता प्रेम इंडस्ट्रीज हिंगोनिया के राजेश जैन ने बताया कि राजस्थान, हरियाणा एवं गुजरात के उत्पादन केन्द्रों से कम पैदावार होने की चौतरफा खबरें मिल रही हैं। अभी तक की बिजाई को देखते हुए ग्वार का उत्पादन 50 लाख बोरी से कम होने का अनुमान है। जबकि देश में ग्वार का सामान्य उत्पादन 75 लाख बोरी से अधिक होता है। पिछले साल देश में लगभग 50 लाख बोरी ग्वार पैदा हुई थी।
जैन ने कहा कि इस साल ग्वार का बिजाई रकबा कम होने के साथ-साथ पेट्रोलियम उत्पाद महंगे होने से ड्रिलिंग के लिए यूरोपीय देशों की ग्वार गम में निर्यात मांग सुधरने लगी है। ग्वार गम का पुराना स्टॉक भी एनसीडैक्स के पास ज्यादा नहीं है। लिहाजा माल की डिलीवरी कम हो रही है। वायदा बाजार में ग्वार व ग्वार गम की कीमतें धीरे-धीरे बढ़ रही हैं। एनसीडैक्स पर हेजिंग करने वाले लिवाली पर उतर आए हैं। इसके अलावा पुराने कई वर्षों के माल गत वर्ष ही कट चुके हैं। इन सभी परिस्थितियों को देखते हुए ग्वार एवं ग्वार गम में भरपूर तेजी के आसार बन सकते हैं। जयपुर मंडी में वर्तमान में जोधपुर डिलीवरी ग्वार सीड 3900 रुपए तथा ग्वार गम 6350 रुपए प्रति क्विंटल के आसपास बेचा जा रहा है।